
बिलासपुर। दक्षिण पूर्व मध्य रेलवे नगदी भुगतान के स्थान पर डिजिटल कैशलेस भुगतान को बढ़ावा दे रही है, इसका उद्देश्य पारदर्शिता बनाए रखने के साथ-साथ विभागों में सीधे नगदी लेनदेन की जगह कैशलेस माध्यम से भुगतान की प्रक्रिया को बढ़ावा देना है ताकि नगदी भुगतान सम्बंधित किसी भी प्रकार की गड़बड़ियों को रोका जा सके।
उन्होंने बताया कि दपूमरे में कार्य करने वाले सभी अधिकारियों व कर्मचारियों का वेतन व अन्य भुगतान उनके खातों में हस्तांतरित कर दिया जाता है, इससे एक ओर भारी मात्रा में रोकड़ के साथ वितरण में होने वाली परेशानियों से भी बचत हुई है, साथ ही नगदी की सुरक्षा के लिए तैनात किये जाने वाले गार्ड व सुरक्षाकर्मियों को पैसेंजरों की व स्टेशनों की सुरक्षा के आवश्यक काम पर लगाया गया है।
उल्लेखनीय है कि अब यात्रियों द्वारा रेल टिकटों की खरीदी एवं बर्थों का रिजर्वेशन भी नगदी रहित यात्रियों के डेबिट एवं क्रेडिट कार्ड के जरिए किया जा रहा है, जोन के तीन मंडल बिलासपुर, रायपुर एवं नागपुर मंडल के चुने हुए स्टेशनों मे इलेक्ट्रानिक माध्यमों से पीओएस, स्वाईप मशीन लगाए जा रहे हैं, इसके माध्यम से यात्री बुकिंग काउंटर मे अपना टिकट बिना कैश के सरलता पूर्वक टिकट की राशि अपने खातों से रेल्वे को भुगतान कर रहे हैं।
इन मंडलों में किया जाता है कैशलेस मशीनों का प्रयोग
दपूमरे के बिलासपुर, रायपुर एवं नागपुर मंडल के 97 स्टेशनों में 218 मशीन लगाये गए है, इसके माध्यम से यात्री अपने रेल टिकटों का देय राशि का भुगतान बिना किसी परेशानी के आसानी से कर रहे हैं, बिलासपुर मंडल के 46 में स्टेशनों में 105 मशीन, रायपुर मंडल के 23 में स्टेशनों में 50 मशीन एवं नागपुर मंडल के 28 में स्टेशनों में 63 मशीन लगाये गए हैं, इनके माध्यम से रोकड़ रहित भुगतान को बढ़ावा दिया जा रहा है।
